यूपी पुलिस भर्ती परीक्षा के पेपर लीक मामले में उत्तर प्रदेश सरकार ने बड़ी कार्रवाई की है. योगी सरकार ने भर्ती बोर्ड की अध्यक्ष रेणुका मिश्रा को पद से हटा दिया है. 

उनकी जगह अब 1981 बैच के आईपीएस अधिकारी राजीव कृष्ण को भर्ती बोर्ड की जिम्मेदारी मिली है.

यूपी के सभी 75 जिलों में 17 व 18 फरवरी को आयोजित की गई सिपाही भर्ती की लिखित परीक्षा में पेपर लीक के बाद परीक्षा रद्द कर दी गई थी. 

उत्तर प्रदेश में 60,000 से अधिक कांस्टेबल भर्ती पदों के लिए 48 लाख से अधिक उम्मीदवारों ने भाग लिया था. 

पेपर लीक होने के बाद परीक्षा रद्द कर दी गई थी और 6 महीने के अंदर दोबारा परीक्षा कराने का एलान किया गया था.

यूपी एसटीएफ ने 2 मार्च को दो और आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है. एसटीएफ को इनके पास से प्रवेश पत्र व अन्य अहम दस्तावेज बरामद हुए हैं.

उत्तर प्रदेश पुलिस भर्ती के लिए 18 फरवरी को आयोजित परीक्षा के दौरान कृष्णानगर स्थित एक स्कूल में परीक्षार्थी सत्य अमन कुमार के पास मिली सवालों के जवाब की पर्ची से पेपर लीक होने की आशंका जताई थी. FIR दर्ज कराने वाले इंस्पेक्टर ने भी तहरीर में सुनियोजित तरीके से पेपर लीक होने की बात लिखी.

परीक्षार्थी को सवालों के जवाब व्हाट्सएप पर भेजने वाले आरोपी नीरज को अब तक पुलिस नहीं पकड़ा है.

आरोपी नीरज को प्रश्नों की जानकारी कहां से मिले यह अभी तक अनसुलझा है.

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